- धमाकेदार ऐलान फुसफुसाहट के साथ खत्म-चिदंबरम
- चिदंबरम बोले-रक्षा आयात पर रोक महज शब्दजाल है
पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने रक्षा उपकरणों के आयात पर बैन के ऐलान को लेकर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह पर निशाना साधा है. चिदंबरम ने कहा कि रक्षा मंत्री ने रविवार सुबह ‘धमाकेदार’ घोषणा की बात कही और उनका ऐलान ‘फुसफुसाहट’ के साथ समाप्त हो गया.
पी. चिदंबरम ने ट्वीट किया, ‘किसी भी आयात पर रोक वास्तव में खुद पर रोक है. रक्षा मंत्री ने अपने ऐतिहासिक रविवार की घोषणा में जो कहा वो महज कार्यालयी आदेश के लायक था जिसे मंत्री के सचिव जारी करते! आयात पर रोक महज शब्दजाल है. इसका मतलब है कि हम 2 से 4 साल में एक ही उपकरण बनाने की कोशिश करेंगे (जो हम आज आयात करते हैं) और उसके बाद आयात बंद कर देंगे.’
Import Embargo is high sounding jargon. What it means is we will try to make the same equipment (that we import today) in 2 to 4 years and stop imports thereafter!
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) August 9, 2020
बता दें कि रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि रक्षा मंत्रालय अब आत्मनिर्भर भारत की पहल पर तेजी से बढ़ने को तैयार है. सरकार देश में रक्षा संबंधी निर्माण को बढ़ावा देने के लिए 101 रक्षा उपकरणों के आयात पर रोक लगाएगी. इन रक्षा उपकरणों के आयात पर रोक से लगाने से भारतीय रक्षा उद्योग को हथियार निर्माण के लिए बड़े अवसर मिलेंगे.
राइफल से मिसाइल तक ‘आत्मनिर्भर’, अब भारत घर में बनाएगा ये 101 घातक हथियार
रक्षा मंत्री ने कहा कि इन रक्षा के उपकरणों के आयात पर रोक लगाने की योजना को 2020 से 2024 के बीच धीरे-धीरे चरणबद्ध तरीके से लागू किया जाएगा. आयात पर बैन के और भी रक्षा उपकरणों को चरणबद्ध तरीके से चिह्नित किया जाएगा.
रक्षा मंत्रालय का बड़ा फैसला- 101 उपकरणों के आयात पर रोक, देश में ही बनेंगे
असल में, भारत असॉल्ट राइफल, आर्टिलरी गन, रडार और हल्के जंगी हेलिकॉप्टर जैसे रक्षा उपकरणों को दूसरे देशों से आयात करता था. मगर रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता की ओर एक मजबूत कदम बढ़ाते हुए भारत ने ऐसे 101 रक्षा सामानों के आयात पर रोक लगा दी है. भारत अब अपनी जरूरत के इन सामानों और हथियारों को खुद बनाएगा. केंद्र सरकार द्वारा घोषित ये रोक चरणबद्ध तरीके से दिसंबर 2025 तक लागू होंगे.
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