निसर्ग से चल सकती हैं 110 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं, जानें कहां से आया नाम और क्‍या है इसका अर्थ – दैनिक जागरण

Publish Date:Tue, 02 Jun 2020 04:06 PM (IST)

नई दिल्‍ली (जेएनएन)। कुछ दिन पहले भारत के पूर्व में एम्फन चक्रवाती तूफान ने दस्‍तक देकर काफी तबाही मचाई थी, वहीं अब पश्चिम में निसर्ग भी इसी राह पर आगे बढ़ रहा है। भारतीय मौसम विभाग का अनुमान है कि ये महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले के हरिहरेश्वर और दमन के बीच 3 जून को दस्‍तक दे सकता है। इसके चलते महाराष्ट्र के छह जिलों पालघर, ठाणे, रायगढ़, धुलिया, नंदुरबार और नाशिक के लिए खतरे की चेतावनी जारी की गई है। मौसम विभाग के मुताबिक अगले 12 घंटों के दौरान ईस्ट सेंट्रल अरब सागर में चक्रवाती तूफान में बदल जाएगा। मौसम विभाग को आशंका है कि जब ये तूफान मुंबई के तट से टकराएगा तो उस वक्‍त इससे चलने वाली हवा की रफ्तार 110 किलोमीटर प्रति घंटे की होगी। यही वजह है कि मुंबई में समुद्री तटों पर खतरे के निशान के तौर पर लाल झंडे के निशान लगाए हैं।

कैसे बनता है चक्रवाती तूफान 

चक्रवाती तूफान बनने का सिलसिला समुद्र के गर्म क्षेत्र से शुरू होता है। यहां की गर्मी से हवा गर्म होकर अत्यंत कम वायु दाब का क्षेत्र बनाती है। फिर ये तेजी से ऊपर उठती है और वहां मौजूद नमी से मिलकर बड़े बादलों का निर्माण करती है। इस दौरान नम हवा भी तेजी से ऊपर की तरफ बढ़ती है। हवा के साथ मिलकर ये तेजी से घूमती है और तो इसके परिणामस्‍वरूप मूसलाधार बारिश होती है। आपको यहां पर ये भी बता दें कि ज्यादातर चक्रवाती तूफान बंगाल की खाड़ी में उठते हैं। इसकी तुलना में अरब सागर के चक्रवाती तूफ़ान अपेक्षाकृत कमजोर होते हैं।

बांग्‍ला भाषा से आया शब्‍द निसर्ग 

आपको बता दें कि निसर्ग एक बांग्‍ला भाषा का शब्द है। इसका मतलब होता है प्रकृति। आपको बता दें कि पूर्व में एम्‍‍‍‍‍फन तूफान के साथ तूफानों के लिए बनाई गई 64 नामों की सूची भी खत्‍म हो गई थी। लिहाजा निसर्ग का नाम नई सूची से चुना गया है। गौरतलब है कि वर्ष 2004 में चक्रवाती तूफान के नाम रखने की प्रकिया शुरू की गई है। इनका नामकरण विश्व मौसम संगठन और संयुक्त राष्ट्र की प्रशांत एशियाई क्षेत्र की आर्थिक और सामाजिक आयोग की चरणबद्ध प्रक्रिया के तहत किया जाता है।

तूफानों का नामकरण

हिंद महासागर के आठ देश जिसमें बांग्लादेश, भारत, मालदीव, म्यांमार, ओमान, पाकिस्तान, श्रीलंका, और थाईलैंड शामिल हैं एक साथ मिलकर आने वाले चक्रवाती तूफानों का नाम तय करते हैं। इन आठों देशों के किसी भी हिस्से में जब ये तूफान पहुंचता है तो सूची में तय नामों के हिसाब से इसका नामकरण कर दिया जाता है। इन देशों की ओर से सुझाए गए नामों के पहले अक्षर के अनुसार उनका क्रम तय किया जाता है फिर नाम रखा जाता है।

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Posted By: Kamal Verma

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