शेखर सुमन ने भंसाली के गुस्से को बताया जायज:कहा – गुस्सा होने का पूरा अधिकार है, भंसाली बोले – मैं टास्क मास्टर नहीं

संजय लीला भंसाली इन दिनों वेब सीरीज ‘हीरामंडी: द डायमंड बाजार’ को लेकर खूब सुर्खियों में हैं। इस सीरीज के जरिए भंसाली ओटीटी प्लेटफार्म पर डेब्यू कर रहे हैं। संजय लीला भंसाली के बारे में माना जाता है कि वो टास्क मास्टर हैं। और, शूटिंग के दौरान खूब गुस्सा करते हैं। इस सीरीज में जुल्फिकार अहमद की भूमिका निभा रहे शेखर सुमन ने भंसाली के गुस्से के बारे में बात करते हुए कहा कि उन्हें गुस्सा होने का पूरा अधिकार है। हाल ही में एक इंटरव्यू के दौरान शेखर सुमन ने संजय लीला भंसाली के साथ काम करने का अपना अनुभव शेयर किया। शेखर सुमन ने संजय लीला भंसाली के गुस्से पर बात करते हुए कहा, ‘अगर वह गुस्सैल हैं तो इससे क्या फर्क पड़ता है। उन्हें गुस्सा होने का पूरा अधिकार है। किसी भी निष्कर्ष पर पहुंचने से पहले यह जान लेना जरूरी है कि उन्हें गुस्सा क्यों आता है? शेखर सुमन ने कहा – ‘जो इंसान काम में परफेक्ट होता है, उसे गुस्सा आता ही है। क्योंकि जब कोई चीज उसके अनुसार नहीं होती, तो वह किसी के प्रति अधीर हो जाता है। के आसिफ, मेहबूब खान और राज कपूर का भी रवैया ठीक वैसा ही था। वे अपने कला में माहिर थे और गुस्सैल भी थे।’ वेब सीरीज ‘हीरामंडी: द डायमंड बाजार’ में शेखर सुमन के बेटे अध्ययन सुमन ने भी काम किया है। इस सीरीज में अध्ययन सुमन ने जोरावर अली खान का रोल निभाया है। शेखर सुमन ने कहा – ‘अध्ययन को अपनी गलतियों से बहुत डर लगता है। एक दिन भंसाली ने उर्दू के सही उच्चारण ना होने की वजह से अध्ययन को डांटते हुए कहा कि तुम्हारे पिताजी ने तुम्हें सिखाया था, है ना ? अगर कोई सही काम के लिए गुस्सा करता है तो उसका गुस्सा करना जायज है।’ हाल ही में एक इंटरव्यू के दौरान संजय लीला भंसाली ने खुद को गुस्सैल और टास्क मास्टर कहे जाने पर अपनी चुप्पी तोड़ते हुए कहा था – ‘ना मैं गुस्से वाला हूं और ना ही टास्क मास्टर नहीं हूं। मीडिया ने मेरे बारे में ऐसी छवि बना दी है कि मेरे साथ काम करना मुश्किल है।’

Source: DainikBhaskar.com

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