Hathras Case LIVE Updates: कुछ ही देर में पीड़ि‍ता के गांव पहुंंचेगी CBI की फॉरेंसिक टीम, पुलिस घेरे में घटनास्‍थल – News18 इंडिया

Hathras Case LIVE: सीबीआई टीम के आने की सूचना पर पुलिस ने घटनास्‍थल को अपने घेरे में ले लिया है. (ANI)

Hathras Case LIVE Update: बताया जा रहा है कि CBI पीड़ि‍ता के गांव में अस्‍थाई कार्यालय भी बना सकती है, ताकि मामले की छानबीन में किसी तरह का व्‍यवधान न हो.

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हाथरस. सीबीआई की टीम मंगलवार को पीड़ि‍ता के गांव पहुंचकर मौका मुआयना करेगी. केंद्रीय जांच एजेंसी की फॉरेंसिक टीम चंदपा थाने से रवाना हो चुकी है. जानकारी के मुताबिक, केंद्रीय जांच एजेंसी मामले की छानबीन के लिए यहां एक अस्‍थाई कार्यालय भी बना सकती है. CBI टीम के आने से पहले हाथरस पुलिस ने घटनास्‍थल को अपने घेरे में ले लिया है. मौके पर कई पुलिसवाले मौजूद हैं. आमलोगों को घटनास्‍थल पर नहीं जाने दिया जा रहा है. उन्‍हें पहले ही रोक दिया जा रहा है. बता दें कि सीबीआई की टीम मौका-ए-वारदात पर पहुंचकर फॉरेंसिक जांच की प्रक्रिया शुरू करने वाली है. 

इससे पहले हाथरस केस (Hathras Case) मामले में पीड़ित परिवार के लोग इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच के समक्ष पेश होकर सोमवार देर रात वापस घर लौट गए. परिवार के लोग पुलिस की कड़ी सुरक्षा के बीच वापस हाथरस लौटे हैं. वहीं, घर लौटने के बाद पीड़ित परिवार ने कहा कि जब तक उन्हें न्याय नहीं मिल जाता, तब तक वह अपनी बेटी की अस्थियों का विसर्जन (Bone Immersion) नहीं करेंगे. उन्होंने कहा कि हमने अदालत के सामने इस मुद्दे को उठाया है कि मेरी बेटी के शव को बिना हमसे इजाजत लिए ही जला दिया गया.

दरअसल, इलाहाबाद उच्च न्यायालय (Allahabad High Court) की लखनऊ बेंच में हाथरस मामले को लेकर सोमवार को सुनवाई हुई. इस दौरान कोर्ट में हाथरस केस के पीड़ित परिवार के लोगों के साथ अधिकारियों ने भी अपना पक्ष रखा. कोर्ट में पीड़ित परिवार ने रात में अंतिम संस्कार पर नाराजगी जताते हुए कहा था कि उन्हें नहीं पता किसका अंतिम संस्कार किया गया है. वहीं, पीड़ित परिवार की वकील सीमा कुशवाहा (Seema Kushwaha) के मुताबिक, परिवार ने कोर्ट से मांग की है कि सीबीआई की रिपोर्ट को गोपनीय रखी जाए, केस को उत्‍तर प्रदेश से बाहर ट्रांसफर किया जाए और जब‍ तक मामला पूरी तरह से खत्म नहीं होता तब तक परिवार को सुरक्षा प्रदान की जाए.

हाथरस डीएम ने कोर्ट में कही ये बातपीड़ित परिवार के बयान के बाद हाईकोर्ट में हाथरस के डीएम ने कहा था कि पीड़िता का रात में अंतिम संस्कार का फैसला स्थानीय प्रशासन का था. ऊपर से रात में अंतिम संस्कार को लेकर कोई निर्देश नहीं था. कानून व्यवस्था बिगड़ने की आशंका के चलते रात में अंतिम संस्कार का फैसला लिया गया था. आपको बता दें कि कड़ी सुरक्षा व्यवस्था में पीड़िता के माता- पिता समेत पांच परिजन सोमवार सुबह हाथरस से लखनऊ के लिये रवाना हुये थे और दोपहर को इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच पहुंचे थे.

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