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कोरोना महामारी के
बीच हुए चार राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश में कुल 822 विधानसभा सीटों पर चुनाव की मतगणना आज आठ बजे से शुरू होने
जा रही है.
भारत जब कोरोना महामारी
में बुरी तरह से जकड़ा हुआ है और हर दिन हज़ारों लोग इलाज के अभाव में दम तोड़ रहे
हैं तब मतगणना शुरू होने जा रही है. भारत के निर्वाचन आयोग की तीखी आलोचना हो रही है
कि उसने महामारी के बीच बड़ी रैलियों के आयोजन की अनुमति दी. मद्रास हाई कोर्ट ने तो
यहाँ तक कह दिया कि चुनाव आयोग पर हत्या का मुक़दमा दर्ज किया जाना चाहिए.
पश्चिम बंगाल
पश्चिम बंगाल में
मतदान आठ चरणों में 27 मार्च से 29 अप्रैल के बीच हुआ. सत्ताधारी तृणमूल कांग्रेस
और बीजेपी ने राज्य में बहुत ही आक्रामक चुनावी कैंपेन चलाए. ममता बनर्जी तीसरी बार
सत्ता में पहुँचने के लिए पूरे दमखम के साथ लगी रहीं तो बीजेपी ने टीएमसी को कड़ी चुनौती
दी.
29 अप्रैल को पश्चिम
बंगाल में आख़िरी चरण का मतदान ख़त्म होने के बाद एग्ज़िट पोल जारी किया गया. अलग-अलग
एग्ज़िट पोल के नतीजों में अनुमान लगाया गया है कि ममता बनर्जी तीसरी बार मुख्यमंत्री
बन सकती हैं लेकिन चुनावी नतीजा टीएमसी और बीजेपी में बहुत क़रीबी का रहेगा.
एग्ज़िट पोल के अनुसार
वाम-कांग्रेस और इंडियन सेक्युलर फ्रंट गठबंधन मामूली सीटों के साथ तीसरे नंबर पर रहेगा.
बीजेपी को 2016 के पश्चिम बंगाल
विधानसभा चुनाव में 294 में से महज़ तीन
सीटों पर जीत मिली थी जबकि 2019 के लोकसभा चुनाव
में प्रदेश की कुल 42 लोकसभा सीटों में
18 पर शानदार जीत मिली थी.
पश्चिम बंगाल में
सरकार बनाने के लिए कुल 294 विधानसभा सीटों में
से आधी से ज़्यादा यानी 147 सीटों से ज़्यादा
सीटों पर जीत ज़रूरी होगी. हालांकि मतगणना 292 सीटों पर ही होगी. मुर्शिदाबाद की दो सीटों पर दो उम्मीदवारों
की कोरोना से मृत्यु के कारण मतदान रोकना पड़ा था. टीएमसी और बीजेपी दोनों जीत का दावा
कर रही हैं.
पश्चिम बंगाल के बाद
सबकी नज़रें असम, केरल, तमिलनाडु और पुद्दुचेरी पर है.
तमिलनाडु में एग्ज़िट
पोल के अनुमान के मुताबिक़ विपक्षी डीएमके को जबर्दस्त जीत मिल सकती है. करुणानिधि
की मौत के बाद 62 साल के स्टालिन डीएमके
के सबसे बड़े नेता के तौर पर उभरे हैं.
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री
पलानीस्वामी के नेतृत्व वाली एआईएडीएमके को एग्ज़िट पोल में पिछड़ने का अनुमान लगाया
गया है. तमिलनाडु में पहली बार वहाँ के दोनों दिग्गज नेता करुणानिधि और जयललिता के
बिना चुनाव हो हुआ है. रविवार को तमिलनाडु की 234 सीटों वाली विधानसभा के लिए कुल 4,218 उम्मीदवारों की किस्मत का फ़ैसला होना है. तमिलनाडु
में इस बार अभिनेता से नेता बने कमल हासन की पार्टी भी चुनावी मैदान में थी.
केरल में मुख्यमंत्री
पिनरई विजयन के नेतृत्व वाला लेफ़्ट डेमोक्रेटिक फ्रंट यानी एलडीएफ़ के सत्ता में बने
रहने की बात कही जा रही है. ऐसा तब है जब केरल में दशकों से हर पाँच साल के बाद सरकार
बदलती रही है. हालांकि कांग्रेस के नेतृत्व वाली यूनाइडेट डेमोक्रेटिक फ़्रंट भी पूरे
आत्मविश्वास के साथ जीत का दावा कर रही है. केरल में पिछले 40 सालों से हर पाँच साल पर सरकार बदलती रही है.
असम में एग्ज़िट पोल
के अनुमान के मुताबिक़ बीजेपी सत्ता में बनी रह सकती है. असम में कुल 126 सीटों पर कांग्रेस बड़े गठबंधन के साथ उतरी है
लेकिन एग्ज़िट पोल में जीत का अनुमान बीजेपी के पक्ष में है. बीजेपी नेता हिमंता बिस्वा
सरमा का कहना है कि उनकी पार्टी को 100 सीटों पर जीत मिलेगी. वहीं कांग्रेस नेता गौरव गोगोई दावा कर रहे हैं कि एग्ज़िट
पोल सच नहीं होगा.
पुद्दुचेरी में भी
30 सीटों के लिए मतगणना होगी.
यहाँ एनआर कांग्रेस के नेतृत्व वाले नेशनल डेमोक्रेटिक एलायंस की जीत की बात कही जा
रही है. सत्ताधारी कांग्रेस की हार का अनुमान लगाया गया है.
बंगाल में मतदान आठ
चरणों, असम में तीन चरणों और केरल,
तमिलनाडु, पुद्दुचेरी में एक दिन में ही मतदान संपन्न कराए गए थे. निर्वाचन
आयोग का कहना है कि इस बार पाँचों राज्यों में लगभग दोगुने मतगणना केंद्र बनाए गए हैं
ताकि कोरोना को देखते हुए सोशल डिस्टेंसिंग का पालन किया जा सके.
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