नगरोटा मुठभेड़ को लेकर भारत सख्त हो गया है। विदेश मंत्रालय ने शनिवार सुबह नई दिल्ली स्थित पाकिस्तान के उच्चायुक्त को तलब कर कड़ी फटकार लगाई। सूत्रों के अनुसार सरकार ने उन्हें स्पष्ट रूप से चेताया कि पाकिस्तान अपनी सरजमीं से चलने वाली आतंकी गतिविधियों को बंद करे। भारत सरकार अपने राष्ट्रीय सुरक्षा हितों के संरक्षण के लिए सारे आवश्यक उपाय करने के प्रति अड़िग है।
गौरतलब है कि भारत में 26/11 जैसे आतंकी हमले को अंजाम देने आए चार आतंकियों को सुरक्षाबलों ने जम्मू कश्मीर के नगरोटा में गुरुवार को हुई मुठभेड़ में ढेर कर दिया था।
Pakistan High Commission official in Delhi summoned by Ministry of External Affairs, on Nagrota incident where four terrorists were neutralised pic.twitter.com/sep4Eaxuym
— ANI (@ANI) November 21, 2020
इस मुठभेड़ के बाद केंद्र सरकार सतर्क हो गई है। आतंकियों की 26/11 की तरह देश दहलाने की साजिश थी। इसे लेकर शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गृह मंत्री अमित शाह, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजील डोभाल, विदेश सचिव और शीर्ष खुफिया प्रतिष्ठानों के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की। सरकारी सूत्रों ने यह जानकारी दी।
सरकार के सूत्रों ने बताया कि बैठक से यह बात निकलकर आई कि आतंकवादी 26/11 मुंबई आतंकी हमले की बरसी पर देश को एक बार फिर दहलाने की साजिश रच रहे थे। बता दें कि गुरुवार को जम्मू-कश्मीर के नगरोटा में सुरक्षाबलों ने मुठभेड़ में एक ट्रक में सवार प्रतिबंधित आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के चार आतंकियों को मार गिराया।
जीपीएस डिवाइस से पर्दाफाश, मसूद के भाई के संपर्क में थे आतंकी
वहीं, आतंकियों के साथ मुठभेड़ इत्तेफाक से नहीं हुई थी। यह खुफिया सूचना आधारित ऑपरेशन था। सुरक्षाबलों का मानना है कि सीमापार से आए आतंकी एक बड़े हमले को अंजाम देने वाले थे। इस घटना से संबंधित जानकारी रखने वाले लोगों का कहना है कि ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम (जीपीएस) डिवाइस के शुरुआती आंकड़ों से और चारों आतंकवादियों के पास मिले मोबाइल फोन से पता चलता है कि वे पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद (जेईएम) के ऑपरेशनल कमांडर मुफ्ती रऊफ असगर और कारी जरार के संपर्क में थे। इनका मकसद कश्मीर घाटी में बड़ा हमला करना था।
वैश्विक आतंकी है मसूद अजहर
मुफ्ती असगर जेईएम प्रमुख और संयुक्त राष्ट्र द्वारा नामित वैश्विक आतंकी मसूद अजहर का छोटा भाई है। शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को गृह मंत्री अमित शाह, विदेश सचिव हर्ष श्रृंगला और दो खुफिया प्रमुखों की उपस्थिति में राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल ने पूरे ऑपरेशन के बारे में बताया।
पीएम मोदी ने सुरक्षा बलों की पीठ थपथपाई
इसके बाद प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट कर कहा, ‘पाकिस्तान के आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के चार आतंकियों को मार गिराने की घटना और उन आतंकवादियों के पास से भारी मात्रा में हथियार और विस्फोटक बरामद होना इस ओर संकेत करता है कि भीषण तबाही और नुकसान करने की उनकी कोशिशों को एक बार फिर नाकाम कर दिया गया।’
सुरक्षाबलों को बहादुरी पर धन्यवाद देते हुए प्रधानमंत्री ने कहा, ‘हमारे सुरक्षा बलों ने एक बार फिर शानदार बहादुरी दिखाई है और अपनी निपुणता का परिचय दिया है। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमारे सैनिकों ने जम्मू-कश्मीर में जमीनी स्तर पर हो रहे लोकतांत्रिक अभ्यास को निशाना बनाने की एक और साजिश को नाकाम कर दिया, उनकी सतर्कता को धन्यवाद।’